हरी मिर्च में छिपा है सेहत का ‘खजाना’

प्रीति नेगी
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देहरादून/ जनमंच टुडे।
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आमतौर पर हम लोग हरी मिर्च का इस्तेमाल खाने को चटपटा और जायकादार बनाने के लिए करते हैं। यह खाने को चटपटा बनाने के साथ ही हमारे शरीर के लिए गुणकारी होता हैं। साथ ही शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है, लेकिन लोग हरी मिर्च के फायदे से अनजान रहते हैं।
जी हां, हरी मिर्च सिर्फ खाने के स्वाद को ही नहीं बल्कि हमारे स्वास्थ्य को भी दुरुस्त रखता है । दिखने में छोटी और स्वाद से तीखी हरी मिर्च आपके खाने को चटपटा बनाने के साथ ही शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाकर कई गंभीर बीमारियों से लड़ने में शरीर को मदद करता है। हरी मिर्च में कई पोषक तत्व जैसे- विटामिन ए, बी6, विटामिन सी, आयरन, कॉपर, पोटेशियम, प्रोटीन और कार्बोहाइड्रेट जैसे कई तत्व पाए जाते हैं। यही नहीं इसमें बीटा कैरोटीन, क्रीप्टोक्सान्थिन, लुटेन -जॅक्सन्थिन आदि स्वास्थ्यवर्धक चीजें भी मौजूद हैं। शीतकालीन मौसम के लिए जून- जुलाई एवं ग्रीष्म मौसम के लिए दिसंबर एवं जनवरी में इसकी बुआई की जाती है। इसका वैज्ञानिक नाम (सिट्ररोथ्रिटस डोरसेलिस हुड़) है। यह पादप फल कैप्सिकम वंश का है। कैप्सेसिन के चलते इसमे चरमराहट होती है। मिर्च का जनक अमेरिका के मैक्सिको को माना जाता है। मैक्सिको में सात हजार ईसा पूर्व इसकी खेती की जाती थी । वही से यह सारी दुनियाभर में फैली। इटैलिक नाविक किस्टोफ़र घुमक्कड़ प्रवर्ती का था और उसको एक देश से दूसरे देश जाने का शौक था। एक बार वह भारत की सैर पर निकला लेकिन तूफान के चलते वह रास्ता भटक गया और वह भारत की बजाए, अमेरिका के मेक्सिको पहुँच गया। वह खाने पीने का शौकीन भी था । वह जब यूरोप की यात्रा पर निकला तो मिर्च भी उसके साथ वहां पहुँची। भारत में जब पुर्तगाली मसाले बेचने आए तो वह अपने साथ मिर्च को भी लेकर आए थे। भारत में इसका जादू लोगों पर इस कदर हावी हुआ कि लोगों ने इसको किचन का हिस्सा बना दिया। साथ ही वैज्ञानिकों ने इसकी कई किस्में भी तैयार कर ली। आज भारत में कई किस्म की मिर्च का उत्पादन किया जाता है। आसाम में उगने वाली भूत झोलकिया मिर्च को दुनिया की सबसे तीखी मिर्च माना जाता है। उत्तराखण्ड में भी किस्म, किस्म की मिर्ची उगाई जाती है। पहाड़ी क्षेत्रों में उगने वाली मिर्च को अधिक तीखा व स्वादिष्ट माना जाता है। आमतौर पर सोचा जाता है कि तीखा मिर्च वाला खाना अच्छा नहीं होता है और इसके सेवन से पेट या सीने में जलन होती है । लेकिन किचन में मौजूद हरी मिर्च न सिर्फ खाने का स्वाद बढ़ाती है साथ ही इसके कई स्वास्थ्य संबंधी लाभ भी होते हैं। इतना ही नहीं, हरी मिर्च कैंसर जैसी बहुत ही खतरनाक बीमारी को भी कम करने में बहुत मददगार साबित होती हैं। हरी मिर्च खाने से तनाव और गंभीर चिंता सेे मुक्ति दिलाने में भी कारगर माना जाता है। हरी मिर्च मस्तिष्क में एंडोर्फिन का संचार भी करती है। जिससे मूड कुुुछ हद तक फ्रेश रहता है। हरी मिर्च खाने से दिल से जुड़े रोगों के कम होने की सम्भावना बनी रहती है। साथ ही रक्त थक्के की बीमारी से भी निजात दिलाने में मददगार मानी जाती है। हरी मिर्च खाने से फेफड़ों के कैंसर का खतरा कम हो जाता है। यह प्रोस्टेट कैंसर का खतरे को कम करती है। वैज्ञानिक शोधों ने यह साबित किया है कि हरी मिर्च खाने से प्रोस्टेट की समस्या पूरी तरह खत्म हो सकती है। हरी मिर्च स्किन के लिए फायदेमंद होते है। अगर आप हरी मिर्च खाते हैं तो आपकी त्वचा में निखार आता है। हरी ताजी मिर्च का एक चम्मच रस शहद में मिलाकर खाली पेट खाने से दमे के रोगी को राहत मिलने की संभावना बनी रहती है। इन्हें ठंडी जगह पर रखना चाहिए क्योंकि गर्मी से हरी मिर्च के पोषक तत्व खत्म हो जाते हैं। अगर आप अपने शरीर को रोगमुक्त रखना चाहते हैं तो हरी मिर्च रोज खाए।